बॉलीवुड के इतिहास में कुछ चेहरे ऐसे हैं, जो कम समय में ही अपनी पहचान इतनी गहरी छोड़ जाते हैं कि सालों बाद भी उन्हें भुलाया नहीं जा सकता। दिव्या भारती एक ऐसा ही नाम हैं। एक चमकता सितारा, जो बहुत तेज़ी से उभरा और उतनी ही रहस्यमयी तरीके से हमेशा के लिए खो गया।
एक साधारण लड़की से सुपरस्टार बनने तक
दिव्या भारती का जन्म 25 फरवरी 1974 को मुंबई में हुआ था। स्कूल के दिनों से ही उनमें एक अलग ही चमक थी—शरारती आंखें, खिलखिलाती हंसी और एक आत्मविश्वास जो उम्र से कहीं आगे था।
फिल्मों में आने का सपना उन्हें बचपन से था, और किस्मत ने भी उन्हें बहुत जल्दी पहचान दिलाई। महज 16 साल की उम्र में उन्होंने तेलुगु फिल्म “बॉबीली राजा” से अपने करियर की शुरुआत की।
बॉलीवुड में धमाकेदार एंट्री
1992 में उन्होंने बॉलीवुड में “विश्वात्मा” से एंट्री की। फिल्म का गाना “सात समुंदर पार” आज भी लोगों की जुबान पर है और उस गाने के साथ ही दिव्या भारती पूरे देश में छा गईं।
इसके बाद उन्होंने पीछे मुड़कर नहीं देखा। उसी साल उन्होंने “शोला और शबनम,” “दीवाना,” “दिल का क्या कसूर,” “बलवान,” जैसी बड़ी फिल्में कीं। सोचिए, सिर्फ एक साल में 14 फिल्में! ये किसी भी कलाकार के लिए असाधारण बात है—खासतौर पर एक 18 साल की लड़की के लिए।
वो मासूमियत और स्टार पावर
दिव्या में एक खास बात थी—वो मासूम भी लगती थीं और ग्लैमर भी था। उनकी स्क्रीन प्रेजेंस इतनी मजबूत थी कि वो अपने सीन में सब पर भारी पड़ती थीं। आम दर्शकों से लेकर निर्देशक-निर्माता तक, सब उनके दीवाने हो गए थे।
गुपचुप शादी और अचानक मौत
1992 में ही उन्होंने साजिद नाडियाडवाला से गुपचुप शादी कर ली थी। शादी के कुछ ही महीने बाद, 5 अप्रैल 1993 की रात, खबर आई कि दिव्या भारती अपने वर्सोवा स्थित फ्लैट की बालकनी से गिर गई हैं। अस्पताल ले जाया गया, लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका।
मौत की वजह पर आज तक सवाल उठते हैं। क्या वो दुर्घटना थी? आत्महत्या? या कुछ और?
मौत की गुत्थी: अब भी अनसुलझी
पुलिस ने केस को “एक्सिडेंटल डेथ” करार दिया। लेकिन उनके करीबी लोगों और फैन्स को ये बात कभी हजम नहीं हुई। कोई कहता है उस रात झगड़ा हुआ था, कोई कहता है वो नशे में थीं, कोई कहता है उन्हें धक्का दिया गया।
पर सच क्या था? आज भी कोई नहीं जानता।
दिव्या की विरासत
मौत के बाद भी उनकी फिल्मों की रिलीज़ होती रही। “रंग,” “शतरंज,” जैसी फिल्में उनकी मौत के बाद रिलीज हुईं और लोगों ने उन्हें भरपूर प्यार दिया।
दिव्या भारती सिर्फ एक अभिनेत्री नहीं थीं, वो एक अहसास थीं—एक ऐसा सितारा जो ज़्यादा समय तक नहीं टिका, लेकिन जब तक रहा, उसने सबको अपना बना लिया।
आखिर में…
कभी-कभी कुछ सवालों के जवाब नहीं मिलते। दिव्या की मौत भी एक ऐसा ही रहस्य है। लेकिन एक बात तय है—वो आज भी करोड़ों दिलों में ज़िंदा हैं, अपने मासूम चेहरे, शानदार अभिनय और उस मुस्कान के साथ जो कभी नहीं भूलती।
दिव्या भारती को याद करना, एक खूबसूरत सपना देखने जैसा है—जो अचानक टूट गया।
अगर आप भी दिव्या भारती के फैन हैं, तो कमेंट में उन्हें अपना ट्रिब्यूट ज़रूर दें।